कॉलर बॉम्ब की कहानी हिमाचल प्रदेश के सनावर इलाके की है, जहां SHO मनोज हेसी जो जिमी शेरगिल ने प्ले किया है... वो एक बड़ा केस सॉल्व करने की वजह से हीरो बन गया है. फिल्म की शुरूआत में दिखाया गया है कि मनोज अपने बेटे अक्षय के साथ इलाके के जाने माने स्कूल में एक शांति सभा में जाते हैं. ये शांति सभा स्कूल की स्टूडेंट नेहा की याद में रखा गया है. नेहा वही लड़की है जिसका केस केस सॉल्व करने पर मनोज ने खूब वाहवाही बटोरी. दरअसल एक दिन नेहा स्कूल से लौटते समय गायब हो गयी थी और कुछ दिन बाद उसकी डेड बॉडी एक कुएं से मिली थी. मनोज ने ASI रतन नेगी के साथ मिलकर यह केस सॉल्व किया था और नेहा के संदिग्ध किडनैपर को मार गिराया था.
शांति सभा का प्रोग्राम चल ही रहा होता है कि शोएब अली नाम का एक शख्स वहां पहुंचता है और शोएब के गले में है एक कॉलर बॉम्ब. वो वहां मौजूद सभी बच्चों, टीचर्स, पैरेंट्स को बंधक बना लेता है. इसमें मनोज हेसी और उसका बेटा अक्षय भी शामिल है. पुलिस वालों को पहले शक होता है कि ये कोई टेरेरिस्ट अटैक है लेकिन धीरे धीरे में कहानी में आते हैं कई ट्विस्ट. तो शोएब अलि बच्चों की जान के बदले एक अटपटी मांग रखता है. वो कहता है कि अगर बच्चे को बचाना है तो उसके माता या पिता में से किसी को कुरबानी देनी होगा. इस दौरान साफ पता चलता है कि शोएब काफी डरा हुआ है वो ये काम अपनी मर्जी से नहीं बल्कि किसी के दबाव में आकर कर रहा है.
इसके बाद शोएब मनोज को बुलाकर उसे कुछ टास्क देता है. अगर मनोज ये काम पूरे कर लेगा तो बॉम्ब डिफ्यूज हो जाएगा. इस दैरान मनोज को पता चलता है कि शोएब से ये सब काम रीटा नाम की कोई महिला करवा रही है. राजश्री देशपांडे ने रीटा का केरेक्टर प्ले किया है. मनोज हेसी बच्चों की जान बचाने के लिए वो सब करता है, जो रीटा करवाती है. तो क्या रीटा अपने प्लान में कामयाब हो पाएगी. क्या उन सब बच्चों की जान बच पाएगी. और नेहा की मौत की पूरी कहानी क्या है. ये सब जानने के लिए आपको देखने होगी ये मूवी.