विवेक रंजन अग्निहोत्री के डायरेक्शन में बनी फिल्म द कश्मीर फाइल्स 11 मार्च को रिलीज हो गयी है. नब्बे के दशक में कश्मीरी पंडितों पर हुए अत्याचार पर बनी इस फिल्म की खूब चर्चा है. साथ ही ये फिल्म बॉक्स ऑफिस पर भी काफी अच्छा कलेक्शन कर रही है. द कश्मीर फाइल्स की कहानी ऐसी है जो दर्शकों के दिल को छू रही है.. ज्यादातर दर्शक फिल्म देखने के बाद बेहद भावुक हो रहे हैं.. इन सब के बीच इस फिल्म को गुजरात, मध्य प्रदेश, हरियाणा और कर्नाटक जैसे राज्यों में टैक्स फ्री डिक्लेयर कर दिया गया है. तो आज के know this वीडियो में हम आपको बताएँगे कि फिल्मों को टैक्स फ्री करने का मतलब क्या होता है? साथ ही बताएंगे कि इससे आम दर्शकों को क्या फायदा होता है ? बस आप वीडियो के आखिर तक बने रहिए हमारे साथ
ये तो आप जानते ही हैं कि हर फिल्म को टैक्स फ्री नहीं किया जाता, किस फिल्म को टैक्स फ्री किया जाना है ये आम तौर पर उस फिल्म के सब्जेक्ट पर डिपेंड करता है.. जैसे मोटिवेशनल फिल्में, नेशनल हीरोज़ के ऊपर बनी फिल्में, सांप्रदायिक सौहार्द यानी कम्युनल हार्मनी को प्रमोट करने वाली फिल्में. जो अच्छा मैसेज देती हों, उन्ही फिल्मों को टैक्स फ्री किया जाता है.. वहीं फिल्मों को टैक्स फ्री इसलिए किया जाता है, ताकि उसे ज़्यादा से ज़्यादा लोग देखें. अगर टिकटों के दाम कम रहेंगे, तो उस फिल्म को कम आय वाले लोग भी देख पाएंगे.
बता दें कि द कश्मीर फाइल्स से पहले दिल्ली सरकार ने 1983 वर्ल्ड कप जीत पर बनी फिल 83 को टैक्स फ्री किया था. कंगना रनौत की मणिकर्णिका को उत्तर प्रदेश में टैक्स फ्री किया गया था.
दरअसल किसी फिल्म के किसी राज्य में टैक्स फ्री होने का मतलब होता है कि संबंधित राज्य उस फिल्म के टिकट की बिक्री पर अपने हिस्से का जीएसटी नहीं वसूलेगा. होता कुछ यूं है कि फिल्म की टिकट के दो हिस्से होते हैं. पहला बेस प्राइस और दूसरा उस पर लगने वाला टैक्स. बेस प्राइस के लिये सीधे तौर पर फिल्म का बजट जिम्मेदार होता है. वहीं टैक्स को राज्य सरकार और केंद्र सरकार के बीच स्टेट जीएसटी और सेंट्रल जीएसटी के रूप में बांटा जाता है. दिसंबर 2018 में फिल्मों के टिकट के लिये 2 टैक्स स्लैब तय किए गए थे. इसमें 100 रुपये तक के टिकट पर 12 प्रतिशत और इससे ज्यादा के टिकट पर 18 प्रतिशत का टैक्स है. फिलहाल मार्केट में यही रेट चल रहा है. जब कोई राज्य किसी फिल्म को टैक्स फ्री घोषित करता है, तो वो फिल्म टिकट पर लगने वाली टोटल GST का 50 फीसदी ही माफ कर सकता है. कश्मीर फाइल्स को मध्य प्रदेश में टैक्स फ्री कर दिया गया है इसका मतलब है कि एमपी में कश्मीर फाइल्स की टिकट पर 12 और 18 फीसदी के बजाए 6 और 9 फीसदी की जीएसटी लगेगा. 100 रुपए से कम के टिकट पर 6 फीसदी और 100 रुपए के ऊपर के टिकट पर 9 फीसदी जीएसटी माफ कर दिया जाएगा.
ऐसे में साफ़ है कि जिन राज्यों में फिल्म द कश्मीर फाइल्स को टैक्स फ्री किया गया है उन राज्यों के टिकट के दाम में थोड़ी कमी आएगी जिससे दर्शकों की जेब पर बोझ कुछ कम होगा.
आखिर में कश्मीर फाइल्स' फिल्म कश्मीरी पंडितों पर हुए जुल्म और उनके बेघर होने की कहानी दिखाती है.. फिल्म में दिखाया गया है कि कैसे आतंकवादियों ने कश्मीरी पंडितों को अपने ही घरों को छोड़कर पलायन करने पर मजबूर किया.