नोबेल का नाम स्वीडन के अल्फ्रेड नोबेल नाम के शख्स पर पड़ा.. वो एक वैज्ञानिक थे. जिन्होंने लगभग 355 आविष्कार किए थे. उनके आविष्कारों में एक डायनामाइट का आविष्कार भी था. अपनी वसीयत में अल्फ्रेड ने अपनी संपत्ति का एक बड़ा हिस्सा एक ट्रस्ट के लिए रखा. उनकी इच्छा कि स्वीडन के बैंक में जमा इन पैसों के ब्याज से हर साल उन लोगों को सम्मानित किया जाए जिन्होंने मानव जाती के लिए सबसे कल्याणकारी काम किया हो. साल 1900 में नोबेल फाउंडेशन की स्थापना हुई और साल 1901 से नोबेल प्राइज़ दिए जाने की शुरूआत. हर साल नोबेल प्राइज की नकद राशि अल्फ्रेड नोबल की वसीयत से ही दी जाती है.
क्या है नोबेल प्राइज ?
nobel prize दुनिया के सबसे प्रतिष्ठित पुरस्कारों में से एक है. nobel prize से उन लोगों को सम्मानित किया जाता है जिन्होंने पिछले एक साल के दौरान मानव जाति को सबसे बड़ा फायदा पहुंचाया हो. समाज में सराहनीय योगदान के लिए Physics, Chemistry, Physiology or Medicine, Literature, Economics और Peace क्षेत्रों के लोगों को इससे सम्मानित किया जाता है. प्राइज का मकसद नए आविष्कारों को सम्मानित करना है. इस पुरस्कार को हासिल करने वाले व्यक्ति को एक गोल्ड मेडल के साथ commendation सर्टिफिकेट और 1.14 मिलियन डॉलर, भारतीय रुपयों के मुताबिक, करीब साढ़े चार करोड़ रुपये कैश में दिए जाते हैं. 23 कैरेट सोने से बने पदक का वजन 200 ग्राम और डायामीटर 6 सेंटिमीटर होता है.
पदक के एक तरफ अल्फ्रेड नोबेल की तस्वीर, उनका जन्म और मृत्यु साल लिखा होता है. और दूसरी ओर यूनानी देवी आइसिस की तस्वीर, 'रायल एकेडमी ऑफ साइंस स्टाकहोम', और पुरस्कार पाने वाले व्यक्ति की जानकारी होती है. विजेताओं के नाम हर साल अक्टूबर के महीने में घोषित कर दिए जाते हैं और यह पुरस्कार 10 दिसम्बर को स्वीडन की राजधानी स्टॉकहोम और नॉर्वे में आयोजित एक ग्रैंड सेरेमनी में दिया जाता है. हालाँकि, कोरोनावायरस महामारी के चलते इस बार भी नोबेल पुरस्कार विजेताओं को उनके घरों में ही दिए जाएंगे.
कैसे चुने जाते हैं विजेता ?
हर साल हजारों academies members, university professors, scientists, पिछले नोबेल पुरस्कार विजेता और members of parliamentary assemblies आने वाले साल के लिए नोबेल पुरस्कार के लिए उम्मीदवारों की पेशकश करते हैं. सभी nominations मिलने के बाद, चार पुरस्कार देने वाले संस्थानों की नोबेल समितियां उम्मीदवारों को चुनती हैं.
किन भारतीयों को मिला नोबेल ?
जिन भारतीयों को अब तक नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया है उनमें रवींद्रनाथ टैगोर, चंद्रशेखर वेंकटरमन, हरगोबिंद खुराना, मदर टेरेसा, एस. चंद्रशेखर, अमर्त्य सेन और कैलाश सत्यार्थी का नाम शामिल है.
क्या कहता है डेटा ?
डेटा के मुताबिक अब तक सिर्फ 7% एशियाई लोगों ने नोबेल जीता है. वहीं 3 प्रतिशत अफ्रिकियों और 2 प्रतिशत ओशियाना के लोगों ने नोबेल जीता. उत्तर अमेरिका से 32 प्रतिशत लोगों ने नोबेल जीता है. आधे से ज्यादा नोबेल पुरस्कार यूरोपीय लोगों के नाम है. इसके साथ ही नोबेल जीतने वालों में सिर्फ 6 प्रतिशत महिलाएं हैं.